नेशनल डेस्क । केंद्र सरकार द्वारा पारित किए गए अधिनियम, तीन विवादित कृषि कानूनों की वापसी आखिरकार राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद की मंजूरी के बाद पूरी तरह हो चुकी है। अब पहले जैसा ही कृषि कानून लागू रहेगा। राष्ट्रपति की मंजूरी के साथ ही औपचारिक तौर पर तीनों कृषि कानून अब निरस्त कर दिया गया है।
हाल ही में कृषि कानून वापसी बिल को लोकसभा और राज्यसभा में पेश किया था। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, तीन विवादास्पद कृषि कानूनों को रद्द करने वाले विधेयक पर अब बुधवार को राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने हस्ताक्षर कर दिए हैं। विपक्षी दलों के विरोध के बीच हाल के वर्षों में सबसे तेजी से लोकसभा और राज्यसभा दोनों द्वारा तीन कृषि कानूनों की वापसी के बिल पर निरस्त की मुहर लगाई।
बता दें कि इस विवादित कानून को लेकर बीते एक साल से किसान, दिल्ली के बॉर्डरों पर धरना प्रदर्शन कर रहे हैं। एक साल से अधिक समय से देश भर में बड़े पैमाने पर किसानों के विरोध के बाद तीन विवादास्पद कृषि कानूनों को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 19 नवंबर को उत्तर प्रदेश और पंजाब जैसे राज्यों में चुनावों से कुछ महीने पहले ही अचानक घोषणा कर दी। इस फैसला का किसान संगठनों ने खुलकर स्वागत किया था तो वहीं किसान नेता राकेश टिकैत ने कहा था कि अभी आंदोलन जारी रहेगा। लेकिन, कानून वापसी के बाद अभी भी एमएसपी को लेकर कुछ किसान संगठन आंदोलन कर रहे हैं।